CM योगी ने सभी अपर मुख्य सचिवों को दिए आदेश, सरकारी भर्तियों में आरक्षण का सख्त पालन

उत्तर प्रदेश में सभी सरकारी भर्तियों में आरक्षण नियमों का कड़ाई से पालन अब अनिवार्य कर दिया गया है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर आरक्षण को लेकर शासनादेश जारी किया गया है. इस आदेश के तहत प्रदेश के सभी अपर मुख्य सचिव और प्रमुख सचिवों को साफ निर्देश दिए गए हैं कि किसी भी भर्ती प्रक्रिया में आरक्षण से जुड़ी लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी |

आरक्षण से जुड़ा यह शासनादेश नियुक्ति एवं कार्मिक विभाग के प्रमुख सचिव एम. देवराज द्वारा जारी किया गया है. आदेश में कहा गया है कि सभी विभाग अपनी-अपनी भर्तियों की समीक्षा करें और यह सुनिश्चित करें कि आरक्षण नियम अक्षरशः लागू हो रहे हैं |

शासनादेश में स्पष्ट किया गया है कि ओबीसी, एससी, एसटी और ईडब्ल्यूएस के लिए तय आरक्षण का पूरी तरह पालन होगा. इसके साथ ही दिव्यांग, महिलाओं और पूर्व सैनिकों को मिलने वाला क्षैतिज आरक्षण भी अनिवार्य रूप से लागू किया जाएगा |सरकार ने साफ किया है कि आरक्षण का कोई भी प्रावधान कागजों तक सीमित न रहे, बल्कि उसका वास्तविक लाभ पात्र अभ्यर्थियों तक पहुंचे  |

पहले के कानूनों और आदेशों का हवाला

आदेश में बताया गया है कि उत्तर प्रदेश की राजपत्रित सेवाओं में आरक्षण से जुड़े कई कानून और शासनादेश पहले से लागू हैं. इनमें वर्ष 1994 का अनुसूचित जाति, जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग आरक्षण अधिनियम, 2020 का आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग आरक्षण अधिनियम और 1993 का दिव्यांग, स्वतंत्रता सेनानी आश्रित व पूर्व सैनिकों के लिए आरक्षण अधिनियम शामिल है. इसके अलावा महिलाओं को क्षैतिज आरक्षण देने का शासनादेश भी लागू है |

भर्ती संस्थाओं को दोबारा जांच के निर्देश

सरकार ने यह भी कहा है कि यदि लोक सेवा आयोग, चयन आयोग या किसी अन्य भर्ती बोर्ड द्वारा भेजे गए प्रस्तावों में आरक्षण की गणना में गड़बड़ी दिखे, तो विभाग अपने स्तर पर दोबारा जांच कराएं. अगर कोई विसंगति सामने आती है तो संबंधित आयोग या चयन संस्था से समन्वय कर उसका समाधान किया जाए |

लापरवाही पर नहीं मिलेगी छूट

शासनादेश में साफ चेतावनी दी गई है कि आरक्षण नियमों के पालन में किसी भी तरह की ढिलाई स्वीकार नहीं की जाएगी. सरकार का कहना है कि पारदर्शी और न्यायसंगत भर्ती प्रक्रिया ही प्रदेश के युवाओं का भरोसा बनाए रख सकती है. इसी उद्देश्य से यह सख्त आदेश जारी किया गया है, ताकि हर वर्ग को उसका हक समय पर मिल सके |