ढाका,। पाकिस्तान के नौसेना प्रमुख एडमिरल नवीद अशरफ ढाका पहुंच गए हैं। नवीद ने ढाका में बांग्लादेश के सेना प्रमुख जनरल वकार उज जमां और एडमिरलन जमुल हसन के साथ मुलाकात की। उनके बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के मुखिया मोहम्मद यूनुस से भी मुलाकात करने की संभावना है। यह बैठकें पाकिस्तान-बांग्लादेश के द्विपक्षीय रक्षा संबंधों के लिहाज से अहम मानी जा रही है।
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक पाकिस्तान और बांग्लादेश के सैन्य अधिकारियों के बीच हालिया महीनों में लगातार बैठकें हुई हैं। पाकिस्तान के बांग्लादेश में पुराने इतिहास को देखते हुए भारत की चिंता बढ़ रही है। पाकिस्तान की ओर से बांग्लादेश की जमीन का इस्तेमाल पूर्वोत्तर भारत में अशांति फैलाने के लिए करने की चेतावनी एक्सपर्ट दे रहे हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि पाकिस्तान की बांग्लादेश में दखल कोई ऐसी खिचड़ी पका सकती है, जिससे भारत की टेंशन बढ़ेगी।
बांग्लादेश की रक्षा मंत्रालय के इंटर सर्विस पब्लिक रिलेशंस ने कहा है कि अशरफ और जमां ने द्विपक्षीय रक्षा सहयोग और सैन्य क्षमताओं को मजबूत करने पर चर्चा की। दोनों ने द्विपक्षीय प्रशिक्षण, सेमिनारों और यात्राओं के जरिए सैन्य सहयोग के विस्तार की संभावनाओं पर भी चर्चा की। नवीद अशरफ की यह यात्रा पाकिस्तानी नौसैनिक जहाज पीएनएस सैफ के चार दिवसीय सद्भावना यात्रा के लिए दक्षिण-पूर्वी चटगांव स्थित बांग्लादेश के मुख्य बंदरगाह के पास लंगर डालने के एक दिन बाद हो रही है। पाकिस्तानी नौसेना ने कहा है कि नवीद की यात्रा बांग्लादेश के साथ दीर्घकालिक संबंधों को मजबूत करने और समुद्री सहयोग को बेहतर बनाने के लिए है।
अशरफ से दो हफ्ते पहले ही पाकिस्तान की ज्वाइंट चीफ्स ऑफ स्टाफ कमेटी के अध्यक्ष जनरल साहिर शमशाद मिर्जा बांग्लादेश दौरा कर चुके हैं। उनकी मोहम्मद यूनुस के साथ मुलाकात विवादों में भी रही थी। इससे पहले आईएसआई के अधिकारी भी ढाका पहुंचे थे। शहबाज सरकार के कई मंत्रियों ने भी बीते दिनों में ढाका का दौरा किया।
बांग्लादेश में बीते साल अगस्त में विरोध प्रदर्शन के बाद शेख हसीना की सरकार गिर गई थी। शेख हसीना को सत्ता से बेदखल किए जाने के बाद बांग्लादेश में मोहम्मद यूनुस के नेतृत्व में सरकार चल रही है। दक्षिणपंथी रुख वाली यूनुस सरकार ने पाकिस्तान के साथ संबंधों को तरजीह दी है, जबकि भारत के लिए उनका रुख अच्छा नहीं रहा है।
बांग्लादेश के साथ पाकिस्तान पका रहा खिचड़ी, भारत की बढ़ेगी टेंशन!
